tag:blogger.com,1999:blog-2824769644724815317.post3950487286498194666..comments2023-11-03T13:54:01.765+05:30Comments on सांध्य दैनिक मुखरित मौन: 165..ख़ामोशी भी एक तरह की सहमति हैyashoda Agrawalhttp://www.blogger.com/profile/05666708970692248682noreply@blogger.comBlogger7125tag:blogger.com,1999:blog-2824769644724815317.post-51779185505914788682019-11-07T17:47:58.678+05:302019-11-07T17:47:58.678+05:30बहुत ही सुन्दर प्रस्तुति
सादर बहुत ही सुन्दर प्रस्तुति <br />सादर अनीता सैनी https://www.blogger.com/profile/04334112582599222981noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2824769644724815317.post-57230710918794131302019-11-05T00:37:14.525+05:302019-11-05T00:37:14.525+05:30छोटी प्रस्तुति परंतु बेहतरीन।
और जहाँ तक बोर होने ...छोटी प्रस्तुति परंतु बेहतरीन।<br />और जहाँ तक बोर होने की बात है तो मैं आपको बता दूँ कि आपके द्वारा प्रस्तुत रचनाओं को पढ़ने के बाद ही हमारे जीवन की बोरियत खत्म होती है। हम जब बोरपन महसूस करते है तब इसे दूर करने के लिए हम इस मंच पर आते हैं। आप यूँ ही बेहतरीन रचनाओं का संकलन प्रस्तुत करती रहें। धन्यवाद।Prakash Sahhttps://www.blogger.com/profile/04882608306436611902noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2824769644724815317.post-79706803164168723212019-11-05T00:10:34.238+05:302019-11-05T00:10:34.238+05:30सुंदर प्रस्तुति दीदी। नहीं हुए बोर।सुंदर प्रस्तुति दीदी। नहीं हुए बोर।Meena sharmahttps://www.blogger.com/profile/17396639959790801461noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2824769644724815317.post-54706411366533527492019-11-04T23:23:29.714+05:302019-11-04T23:23:29.714+05:30सादर आभार आदरणीय जफर जी।सादर आभार आदरणीय जफर जी।पुरुषोत्तम कुमार सिन्हाhttps://www.blogger.com/profile/16659873162265123612noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2824769644724815317.post-22388174521021675842019-11-04T22:29:59.339+05:302019-11-04T22:29:59.339+05:30बहुत शानदार प्रस्तुति।
कोई बोर नही हो रहा अगर ऐसे ...बहुत शानदार प्रस्तुति।<br />कोई बोर नही हो रहा अगर ऐसे ही मधुर रचनाये मिलती रहे पढ़ने को<br /><br />मन-मर्जी ये साँस की, वो चले या रुके! <br />हूँ सफर में, साँसों के शहर में! <br />इक, पराए से घर में! <br />पराई साँस है, जिन्दगी के दो-पहर में!<br /><br />सादरdr.sunil k. "Zafar "https://www.blogger.com/profile/13096911048421117572noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2824769644724815317.post-67688911876526648122019-11-04T19:38:01.995+05:302019-11-04T19:38:01.995+05:30आज के अंक की सभी रचनाएं बेहतरीन.....सभी ब्लोगरस को...आज के अंक की सभी रचनाएं बेहतरीन.....सभी ब्लोगरस को शुभकामनाएं अश्विनी ढुंढाड़ाhttps://www.blogger.com/profile/03416174588302665609noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2824769644724815317.post-82529434468612713672019-11-04T17:44:31.957+05:302019-11-04T17:44:31.957+05:30वाह-वाह...
बेहतरीन प्रस्तुति...
सादर..वाह-वाह...<br />बेहतरीन प्रस्तुति...<br />सादर..Digvijay Agrawalhttps://www.blogger.com/profile/10911284389886524103noreply@blogger.com